अयोध्या में 22 जनवरी को रामलला प्राण प्रतिष्ठा समारोह की तैयारियां जोरों पर, साधु-संतों सहित कई प्रमुख हस्तियों को आमंत्रण

रोशनी अहिरवार, IIMT न्यूज

ग्रेटर नोएडा। 9 नवंबर 2019 यही वो दिन था, जब 134 साल पुराने राम मंदिर और बाबरी मस्जिद विवाद पर भारतीय सर्वोच्च न्यायालय ने अपना फैसला सुनाया था। राम मंदिर और बाबरी मस्जिद विवाद से जुड़ी इतिहास में कई घटनाएं दर्ज हैं। तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई, न्यायमूर्ति एसए बोबोडे, न्यायमूर्ति डी.वाई. चंद्रचूड़, न्यायमूर्ति अशोक भूषण और न्यायमूर्ति एस अब्दुल नजीर की पीठ ने  सर्वसम्मति द्वारा लिए गए अपने फैसले में बाबरी मस्जिद ढांचा के स्थान पर राम मंदिर निर्माण का बड़ा फैसला सुनाया था। तब से लगभग 4 साल बाद, 22 जनवरी 2024 को प्रभु श्री राम की मूर्ति स्थापना उनके प्राण प्रतिष्ठा दिवसीय समारोह के अंतर्गत,  1800 करोड़ की लागत से बने अयोध्या के भव्य मंदिर में की जायेगी।

प्राण प्रतिष्ठा समारोह के लिए निमंत्रण पत्र पहले ही भेजे जा चुके हैं जिनमें कई बड़े नाम शामिल है। कार्यक्रम में मुख्य यजमान के तौर पर प्रधानमंत्री मोदी सम्मिलित होंगे। इसके साथ उत्तर प्रदेश मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, प्रसिद्ध क्रिकेट खिलाड़ी सचिन तेंदुलकर और विराट कोहली, भारत के बड़े उद्योगपति मुकेश अंबानी , गौतम अडानी और रतन टाटा जैसी हस्तियां भी शामिल होंगी। आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत, योग गुरु रामदेव को भी निमंत्रण दिया गया हैं। राम मंदिर ट्रस्ट ने पूरे देश भर से 4000 संतों को निमंत्रण भेजे है। 

30 दिसंबर शनिवार को प्रधानमंत्री मोदी ने अयोध्या के दौरे में रोड़ शो भी किया। जिसमें उन्होंने देश की जनता से ये अपील की कि वह 22 जनवरी को अपने-अपने घरों में रामलला की स्थापना करें और दीपावली महोत्सव मनाएं। 22 जनवरी को होने वाले प्राण प्रतिष्ठा समारोह की तैयारी शुरू हो चुकी हैं। लगातार देश के कोने-कोने से लोग समारोह का हिस्सा बनने लगातार अयोध्या आ रहे हैं। ऐसे में प्रधानमंत्री मोदी ने लोगों से अपील की है कि वह 22 जनवरी के बाद अयोध्या में आकर राम लला के दर्शन करें। क्योंकि देश के सभी लोगों का एक साथ अयोध्या में आना संभव नहीं।

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