इस मौसम में कोल्ड ड्रिंक्स-आइसक्रीम को करे परहेज

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मौसम बदलते ही बहती नाक और खांसी सबसे पहला परेशानी होती है। यह परेशानी होते ही दिमाग कितना ही तेजी से काम कर रहा हो, लेकिन बहती नाक व खांसी आपको किसी जगह बैठने नहीं देती और काम पूरा न हो पाने की खीझ के साथ-साथ सिर में दर्द और ठीक से सांस न ले पाने की समस्या से जूझना पड़ता है।


बसंत पंचमी के बाद बसंत ऋतु आती है और इससे पहले सर्दियां होती हैं। ठंड की वजह से कफ बॉडी में जमा हो जाता है और जब गर्मियों का मौसम आता है तो सूरज के तेज ताप की वजह से शरीर में जमा कफ पिघलने लगता है। यही कारण है कि मिड मार्च और मिड मई के बीच लोगों को खांसी और जुकाम जैसी परेशानियां झेलनी पड़ती हैं। इसके अलावा इस मौसम में भूख भी कम लगती है।


इस मौसम में एकदम से आहार-विहार नहीं बदलना चाहिए। फ्रिज का ठंडा पानी, कोल्ड ड्रिंक, आइसक्रीम, दही जैसी चीजें नहीं खाना चाहिए। खाने में खट्टी-मीठी और नमकीन चीजें शामिल न करें, ये कफ को बढ़ाती हैं। इसके अलावा एसी का ज्यादा इस्तेमाल न करें। एसी को कुछ देर ऑन करके छोड़ दें, इतने में कमरा ठंडा हो जाएगा। रात को ज्यादा देर तक बाहर न घूमें और एसी गाड़ी में न घूमें, इससे भी कफ बढ़ता है। दिनचर्या ठीक रखने के बावजूद आपको खांसी-जुकाम हो गया है तो घबराएं नहीं बल्कि आपके किचन में ही ऐसे कुछ उपाय हैं जो जल्द बंद नाक को खोल देंगे और खांसने से जो गला दुख गया है उसे भी ठीक कर देंगे।

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